ईश्वर

'मन के मोती' में आज फिर से डायरी से ही कुछ शब्द 
27 feb 2012  
at 3:00pm 
monday

सच  है, भगवान कभी हमारी ज़िंदगी से अपनी अहमियत कम नहीं होने देते हैं।  हम जीवन के हर मुश्किल मोड पर आकर उनसे कहते हैं कि  "बस ये हमारी  सबसे बड़ी और आखिरी wish है।  please भगवान एक बार इसे पूरा कर दीजिए। i promice इसके बाद मैं आपसे कुछ नहीं माँगूंगा /माँगूंगी ।"मगर ये कहते वक़्त  हम शायद ये भूल जाते हैं कि आख़िर वो भगवान हैं। सर्वशक्तिमान हैं। उनके द्वारा तो पहले ही सबकुछ सुनिश्चित किया जा चुका है। कब,किसे ,कहाँ,कैसे ?उनकी पल -पल ज़रूरत हमें होगी, ये वो पहले से जानते हैं और इसीलिए शायद हमसे इस तरह के शब्द बुलवाते हैं। लेकिन जब फिर से हमारे समक्ष वो घड़ी आ जाती  है कि हमे उनसे अगली चीज़ माँगनी  होती है , हमें उस सर्वशक्तिमान की महत्ता याद आती है। 
           अनुभव ही जीवन में सबकुछ है।  अनुभव लेकर सीखी हुई बातें ताउम्र साथ देती हैं। आगे गलतियाँ करने से रोकती हैं और  कुछ भी निश्चित करने से पहले हमें सौ बार सोचने को मजबूर करतीं हैं।

(स्वलिखित) dj  कॉपीराईट © 1999 – 2015 Google

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टिप्पणियाँ

  1. Wahh .. yahi zindagi ki sachhai he... apki kalpna ki daad deni padegi..dj

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    1. बहुत बहुत धन्यवाद रचना जी आप समय निकल कर हमारा ब्लॉग पढ़ रहीं हैं आप जैसे प्रोत्साहित करने वाले दोस्तों से ही तो प्रेरणा मिल पाती है।

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